नीतीश कुमार की दिल्ली यात्रा: इस्तीफे की चर्चा या कुछ और? जानें उनका असली प्लान

नीतीश कुमार की दिल्ली यात्रा: इस्तीफे की चर्चा या कुछ और? जानें उनका असली प्लान

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इन दिनों अपनी दिल्ली यात्रा को लेकर सुर्खियों में हैं। जैसे ही उन्होंने दो दिन की यात्रा के लिए दिल्ली का रुख किया, उनके इस्तीफे की अटकलें तेज़ हो गईं। इन अटकलों को हवा देने में प्रशांत किशोर और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के नेताओं की भी बड़ी भूमिका रही। हालांकि, ‘अमर उजाला’ को मिली जानकारी के मुताबिक, नीतीश कुमार का यह दौरा दो अहम उद्देश्यों को लेकर है।


इस्तीफे की अफवाहें और राजनीतिक सरगर्मी

नीतीश कुमार के दिल्ली जाने के तुरंत बाद, राजनीतिक गलियारों में उनके इस्तीफे की चर्चा शुरू हो गई। प्रशांत किशोर ने भी इस मुद्दे को लेकर बयान दिया, जबकि RJD के नेता इस चर्चा को और जोर-शोर से उठा रहे हैं। लेकिन विश्वस्त सूत्रों के मुताबिक, इन अटकलों का सच से कोई लेना-देना नहीं है।


नीतीश कुमार के दिल्ली दौरे के प्रमुख उद्देश्य

  1. पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के परिवार से मुलाकात:
    नीतीश कुमार ने अपनी हालिया ‘प्रगति यात्रा’ पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह के निधन के कारण बीच में ही रोक दी थी। अब वह दिल्ली में उनके परिजनों से मिलकर शोक संवेदनाएं प्रकट करेंगे।
  2. राष्ट्रीय राजनीति को साधने की कोशिश:
    नीतीश कुमार की इस यात्रा का दूसरा बड़ा उद्देश्य राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) के साथ अपनी आगे की रणनीति पर चर्चा करना है। सूत्रों का कहना है कि नीतीश आगामी लोकसभा चुनावों में अपनी भूमिका को लेकर चर्चा करने दिल्ली गए हैं।


प्रशांत किशोर और RJD क्यों फैला रहे हैं इस्तीफे की चर्चा?

प्रशांत किशोर लंबे समय से नीतीश कुमार की आलोचना कर रहे हैं। उन्होंने हाल ही में बयान दिया था कि नीतीश अपने कार्यकाल को खत्म करने के लिए जल्द ही इस्तीफा दे सकते हैं। दूसरी ओर, RJD के नेता इस अफवाह को इसलिए बढ़ावा दे रहे हैं ताकि गठबंधन में उनकी पार्टी का कद बड़ा हो सके।

नीतीश कुमार की राजनीतिक दिशा पर नज़र

नीतीश कुमार की इस यात्रा को उनकी भविष्य की राजनीतिक योजनाओं के संकेत के रूप में भी देखा जा रहा है।

  • NDA के साथ रिश्तों की मजबूती: नीतीश ने पहले भी संकेत दिए हैं कि वह गठबंधन में अपनी स्थिति को लेकर स्पष्ट रणनीति बनाना चाहते हैं।
  • लोकसभा चुनाव 2024: बिहार में आगामी लोकसभा चुनावों के लिए राजनीतिक समीकरण बनाने और अपनी पार्टी की स्थिति को मजबूत करने पर चर्चा की उम्मीद है।